आजकल हमारे शहर में सुबह नही होती साहब,
बल्कि सीधे दोपहर हो जाती है!
और जो सुबह का घर से निकला शाम को घर आये
तो उसे भूला हुआ नही कहते बल्कि भुना हुआ कहते हैं !!!
आजकल हमारे शहर में सुबह नही होती साहब,
बल्कि सीधे दोपहर हो जाती है!
और जो सुबह का घर से निकला शाम को घर आये
तो उसे भूला हुआ नही कहते बल्कि भुना हुआ कहते हैं !!!