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Mohabbat mein harne ka maza aur hai

ठोकर खाकर खुद संभलने का, मज़ा ही कुछ और है
किसी रोते हुए को हंसाने का, मज़ा ही कुछ और है
प्यार में चोट खाने का अफसोस मत करो यारो,
किसी की मोहब्बत में हारने का, मज़ा ही कुछ और है

Hum Kafan odh kar nikal jayenge

हम तो किसी दिन कफन ओढ़ कर निकल जायेंगे
सारी रूसबाईयों को यहीं छोड़ कर खिसक जायेंगे
गर जी न भरा हो तो और सता लो यारो,
वर्ना सब ढूंढते रह जायेंगे पर हमको न ढूढ पायेंगे...

Dil ke Jakham ko chupana padta hai

पलकों के पीछे आँसुओं को छुपाना होता है
ज़बरदस्ती चेहरे पर हंसी को लाना होता है
ये आशिकी का क्या सितम है यारो
दिल के ज़ख्मों को उनसे ही छुपाना होता है

Par Koi Mumtaj Nahi Mil Payi

मेरी ज़िंदगी की गाड़ी, तनिक भी न हिल पायी है
मेरे अरमानों की बगिया, अभी तक न खिल पायी है
सोचा था एक ताजमहल और बनबाऊँगा,
पर अभी तक मुझे कोई मुमताज नहीं मिल पायी है

Tu Yaad Aaye To Kya Karu

Dil Se Tera Khayal Na Jaye To Kya Karu
Tu Hi Bata Tu Yaad Aaye To Kya Karu

Hasrat Ye Hai Ki Ek Nazar Tujhe Dekhun
Magar Kismat Wo Lamha Na Laye To Kya Karu !!!