तुम्हारे दिये दर्द ने जलाया मुझे,
आँसूओ ने हाथों में खिलाया मुझे
इतनी कहाँ औकात थी मेरी
तेरी नफरत ने शायर बना दिया मुझे
तुम्हारे दिये दर्द ने जलाया मुझे,
आँसूओ ने हाथों में खिलाया मुझे
इतनी कहाँ औकात थी मेरी
तेरी नफरत ने शायर बना दिया मुझे